एसएएफ की 14 वीं बहिनी में खुशनुमा और स्वस्थ्य जीवन शैली विषय पर कार्यक्रम आयोजित

सकारात्मक सोच इंसान को हर कठिन परिस्थिति में हिम्मत देती है – बीके प्रहलाद भाई

ग्वालियर। एसएएफ 14वीं वाहिनी विशेष सशस्त्र पुलिस बल द्वारा “पॉजिटिव थिंकिंग, हैप्पी एंड हेल्दी लिविंग” (सकारात्मक सोच, खुशनुमा और स्वस्थ्य जीवनशैली) विषय पर कार्यक्रम का आयोजन बटालियन कमांडेंट डॉ शिवदयाल सिंह (आईपीएस) के निर्देशन में आयोजित हुआ।
कार्यक्रम में मुख्य वक्ता के रूप में प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्व विद्यालय से मोटिवेशनल स्पीकर बीके प्रहलाद भाई तथा राजयोग ध्यान प्रशिक्षक बीके ज्योति बहन, बीके सुरभि बहन उपस्थित थीं। इसके साथ ही कार्यक्रम में 14 वीं वाहिनी एसएएफ के डिप्टी कमांडेंट श्री संजय कॉल, मेडिकल ऑफिसर डॉ.ओमप्रकाश वर्मा, सहायक सेनानी श्री रत्नेश तोमर, सहायक सेनानी श्री प्रमोद शाक्य, सहायक सेनानी श्री दिलीप चंद छारी, निरीक्षक श्री राकेश कुमार शर्मा आदि उपस्थित थे।


कार्यक्रम में बीके प्रहलाद भाई ने सभी को संबोधित करते हुए कहा कि हमारे मन में जैसे विचार आते है वैसा ही हमारा जीवन बनता है। यह विचार सुनने में सरल लगता है पर वास्तव में यही जीवन का सबसे बड़ा सत्य है कि मनुष्य का जीवन उसकी सोच का प्रतिबिंब होता है। अगर हमारा मन सकारात्मक विचारों से भरा रहेगा तो जीवन में हर परिस्थिति का सामना आसानी से किया जा सकता है। लेकिन यदि मन में नकारात्मक विचार आते है तो हमारे पास कितना भी धन, पद या सुविधाएँ क्यों ना हो पर हमें जीवन बोझ ही लगेगा। इसलिए जीवन में सफलता पाने के लिए केवल मेहनत करना ही काफी नहीं होता, बल्कि सही सोच और समय का सही उपयोग करना भी उतना ही आवश्यक होता है।
सकारात्मक सोच इंसान को हर कठिन परिस्थिति में हिम्मत से खड़े रहने की शक्ति देती है।
जब हम किसी भी समस्या का सामना करते हैं तो नकारत्मक विचार हमें कमजोर बना देते हैं। जबकि सकारात्मक सोच विश्वास जगाती है कि हर समय समस्या का समाधान मौजूद है यही विश्वास इंसान को मंजिल तक पहुंचाने के लिए प्रेरित करता है, ठीक उसी प्रकार समय प्रबंधन जीवन की सबसे बड़ी कला है समय बहुत कीमती है और एक बार चला गया तो वह समय कभी वापस नहीं आता। जो लोग समय क़ा सही महत्त्व समझते हैं वही जीवन में आगे बढ़ते हैं और सफलता प्राप्त करते हैं समय का सही उपयोग हमें अनुशासन, धैर्य और कार्य के प्रति जिम्मेदारी सिखाता है।
अगर हम सकारात्मक सोच के साथ समय का सम्मान करना सीख जाए तो न केवल हमारे जीवन में प्रगति होगी बल्कि हम दूसरों के लिए भी प्रेरणा बनेंगे यही दोनों बातें सकारात्मक सोच और समय प्रबंधन जीवन को सार्थक और सफल बनाती हैं। इसके साथ ही उन्होंने आगे कहा कि हम कितने भी व्यस्त क्यों न हों परंतु थोड़ा समय हमें अपने लिए निकलना चाहिए जिसमें हम तन और मन को स्वस्थ्य रखने के लिए ध्यान, योग, प्राणायाम आदि के लिए समय निकाल सकें। साथ ही थोड़ा समय हमें अपने परिवार और मित्र संबंधियों को भी देना चाहिए। इससे हमें सकारात्मक ऊर्जा मिलती है और जीवन भी हमारा खुशहाल होता है।
तत्पश्चात डिप्टी कमांडेंट ने जवानों को संबोधित करते हुए कहा कि सफलता का रास्ता आसान नहीं होता । यह कठिनाइयों, संघर्षों और असफलताओं से होकर गुजरता है लेकिन जो व्यक्ति अपने लक्ष्य और कार्य के प्रति अडिग रहता है, वही मंज़िल तक पहुँच पाता है।
डॉ ओपी वर्मा ने कहा कि एक स्वस्थ शरीर और स्वस्थ मन से ही इंसान अपने जीवन के हर लक्ष्य को हासिल कर सकता है। जब स्वास्थ्य अच्छा होता है तो जीवन ऊर्जा से भर जाता है, काम में उत्साह आता है और मन खुश रहता है। लेकिन जब स्वास्थ्य बिगड़ जाता है, तो सारी खुशियाँ फीकी लगने लगती हैं।
अंत में बीके ज्योति बहन ने उपस्थित जवानों को राजयोग ध्यान के बारे में विस्तार से बताया तथा सभज को ध्यान का अभ्यास भी कराया।
इसके साथ ही सारा दिन अच्छा बीते उसके लिए रचनात्मक एक्टिविटी भी सभी को कराई और कहा कि रोज हमें सबके लिए अच्छे विचार रखने चाहिए।
इस अवसर पर अनेकानेक अधिकारी एवं एक सैकड़ा से अधिक पुलिस के जवान उपस्थित थे।

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